1 मार्च को जिलों में ईडी का पुतला दहन, 3 मार्च को ईडी दफ्तर का घेराव करेंगी कांग्रेस
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28 फरवरी 2025 रायपुर :- प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज ने पत्रकारवार्ता को संबोधित करते हुये कहा कि ईडी के द्वारा भेजे गये सम्मन के आधार पर जानकारी देने गये कांग्रेस के प्रभारी महामंत्री मलकीत सिंह गैदू को जबरिया ईडी ऑफिस में घंटों बैठाया जाना बेहद ही आपत्तिजनक है। ईडी ने कांग्रेस से उसके जिला कार्यालय के निर्माण के संबंध में जानकारी मांगी थी।
प्रभारी महामंत्री ईडी के द्वारा चाही गयी जानकारी को देने ईडी ऑफिस गये थे। जानकारी प्राप्त करने के तुरंत बाद ईडी को उनको वापस आने देना चाहिए था। ईडी को कुछ अतिरिक्त जानकारी चाहिये थी तो उसको वह लिखित में मांग सकती थी, उस जानकारी को उपलब्ध कराया जायेगा। कांग्रेस अपने कार्यालयों के निर्माण के एक-एक रू. का हिसाब देगी।
ईडी ने भाजपा के इशारे पर कांग्रेस के वरिष्ठ पदाधिकारी को अनावश्यक घंटों बैठाये रखा था। ईडी भाजपा के अनुषांगिक संगठन की भांति काम कर रही है जो सर्वथा अस्वीकार्य है। ईडी ने कांग्रेस के प्रभारी महामंत्री से जो सवाल किया उससे साफ हो रहा था कि ईडी की मंशा कांग्रेस पदाधिकारी को प्रताड़ित करना है। प्रभारी महामंत्री इडी के सवालो का जवाब देने गये थे फिर उनके व्यक्तिगत, पारिवारिक संपत्ति का ब्योरा क्यों मांगा गया।
सम्मन के चार बिन्दु थे उसमें यह तो नहीं था। ईडी नगर निगम कब से हो गयी, वह बिल्डिंग का नक्शा कब पास हुआ, लेआऊट कहा है, छज्जा कितना निकला है, ऊंचाई कितनी है? यह सवाल पूछ रही है, नक्शा पास हुआ या नहीं लोकल पालिका पूछेगी सिर्फ परेशान करने की नीयत है साफ दिख रहा है। क्या ईडी सभी कांग्रेस के पदाधिकारियों की संपत्ति की जांच के एजेंडे पर आई थी। ईडी की तानाशाही कार्यवाही के विरोध में सड़क से सदन तक लड़ाई लड़ने का निर्णय कांग्रेस कार्यकारिणी ने लिया है।
1 मार्च से पहले सभी जिलो में पुतला दहन किया जायेगा। 3 मार्च को इडी आफिस के सामने बड़ा प्रदर्शन किया जायेगा। ईडी को राजनैतिक दल के कार्यक्रमों के खर्चों एवं पार्टी दफ्तर के निर्माण का ब्यौरा जानने का इतना ही शौक है तो सिर्फ कांग्रेस का ही क्यों वह भाजपा के भी खर्चों की पड़ताल करे। ईडी में साहस है तो वह भाजपा के 150 करोड़ रू. की लागत से बने भाजपा कार्यालय कुशाभाऊ ठाकरे को बनाने का रुपया कहां से आया इसकी जांच करे? कुशाभाऊ ठाकरे परिसर फाईव स्टार होटल की तर्ज पर बनाया गया है।
रायपुर में ही भाजपा के कार्यालय एकात्म परिसर की जमीन राजनैतिक दल के कार्यालय के लिये भाजपा ने 1 रू. में हासिल किया था। एकात्म परिसर को व्यवसायिक काम्प्लेक्स में तब्दील कर दिया गया जहां से 1.5 करोड़ रूपया किराया भाजपा वसूलती है ईडी उसकी जांच करेगी? भाजपा के पितृ संगठन जिसका पंजीयन तक नहीं है उस आरएसएस ने 500 करोड़ की लागत से दिल्ली में अपना दफ्तर बनाया है।
इस रकम के स्रोत की ईडी जांच क्यों नहीं करती है? ईडी भाजपा के लिखे पटकथा पर अमल कर रही है। कांग्रेस कार्यालय की जांच हो सकती है तो भाजपा के कार्यालयों की जांच क्यों नहीं होना चाहिये। हमारा भवन हमारे कार्यकर्ताओं के सहयोग से एकत्रित किये धन से बनाया गया है हमारे पास पूरा हिसाब है। हमारे सुकमा राजीव भवन की कुल लागत 65 लाख रू. लगभग है। कोंटा के भवन की निर्माण की लागत 20 लाख लगभग है जो अभी अपूर्ण है। जिसका पूरा पेमेंट पीसीसी ने चेक से किया है। एक-एक खर्च का ऑडिट हुआ है।